यदि आप हनुमान जी की भक्ति करते है और उनके ऊपर विश्वास करते है तो आपको चिंता करने की जरुरत नहीं बताता हूं क्यों ----ध्यान से सुनियेगा ..... इसका उत्तर स्वयं हनुमान जी ने ही दिया है। ......
जब लक्ष्मण जी को शक्ति लगी और राम जी अपना धैर्य खो रहे थे, लगातार रो रहे थे और हनुमान जी से बोल रहे थे
यदि तुम संजीवनी नहीं ला पाए तो क्या होगा ???.... इसका उत्तर स्वयं हनुमान जी ने दिया है
तब हनुमान जी को उनकी ऐसी स्थिति देखी नहीं गई और राम जी से बोले - प्रभु आप चिंता ना करैं।
"मैं अंजनि पुत्र हनुमान प्रकाश के वेग से जाऊंगा और द्रोणागिरी पर्वत को समय के पहले ही उठा ले आउगा" यदि
"इसमें अमृत नहीं मिला तो उसी वेग स्वर्ग जाउगा और वह से देवताओं से अमृत छीनकर यहां ले आउंगा " यदि वहां भी
नहीं मिला तो जहां से अमृत निकला था पाताल लोक चला जाउगा वहां से ले आउगा और यदि वहाँ भी नहीं मिला तो मैं
चन्द्रमा को पकड़ के लछमण जी के मुँह मे निचोड़ दूँगा (ऐसा बोला जाता है कि चन्द्रमा मे अमृत का रस है ) और यदि
"वहाँ से भी नहीं निकला तो सूर्य को फिर से निगल जाऊंगा " और इतने पर भी कुछ नहीं हुआ तो यमलोक जाके
धर्मराज के धर्मपाश को ही तोड़ दूंगा। और इससे भी कुछ न हुआ तो काल को समाप्त कर दूंगा। "
सोचिये इतना सब केवल स्वयं भू भोलेनाथ ही बोल सकते है क्योकि हनुमान जी शिवजी का ही रूप है।
तो फिर आप क्यों इतनी चिंता करते है हनुमान जी के रहते। उनके ऊपर विश्वास बनाये रखिये और सब संकटों को संकटमोचन पर ही छोड़ दीजिये।
हनुमान जी के उत्तर को सुनके आपके रोंगटे खड़े हो जाएंगे
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
THANK YOU